JCB ड्राइवर बोला- 100 नहीं, 850 गायों को रातोंरात दफनाया गया, उसी की जुबानी सुनिए उस रात का सच

बैरसिया के बसई गांव की गौ सेवा भारती गौशाला में 100 नहीं 850 गायों की मौत हुई है। इसका दावा गायों के शव और कंकाल दफनाने के लिए गड्ढा खोदने वाले JCB ड्राइवर शाहरुख ने किया है

JCB ड्राइवर बोला- 100 नहीं, 850 गायों को रातोंरात दफनाया गया, उसी की जुबानी सुनिए उस रात का सच

बैरसिया के बसई गांव की गौ सेवा भारती गौशाला में 100 नहीं 850 गायों की मौत हुई है। इसका दावा गायों के शव और कंकाल दफनाने के लिए गड्ढा खोदने वाले JCB ड्राइवर शाहरुख ने किया है। शाहरुख की मानें तो गाड़ियों में भर-भरकर गायों के शव आ रहे थे, शाम चार बजे से गायों को दफनाने के लिए बैरसिया कचरा खंती में गड्‌ढा खोदने का काम शुरू हुआ। रात 12 बजे तक गायों के शवों को दफनाया गया। इसके लिए करीब 8-9 फीट गहरा गड्‌ढा खोदा गया था।

करीब 800 से 900 गायों में आधे कंकाल थे। दफनाने के बाद नमक और केमिकल डाला गया, जिससे दुर्गन्ध नहीं फैले। शाहरुख, नगर पालिका बैरसिया के JCB ड्राइवर हैं। रविवार से वह कचरा खंती में ही डटे हुए हैं। दैनिक भास्कर ही पहली बार गायों के शवों को दफनाने का सच सामने लाया है।

दो दिन में कलेक्टर को रिपोर्ट सौंपेंगे बैरसिया SDM

भोपाल के बैरसिया में भाजपा नेत्री निर्मला शांडिल्य की गौशाला में रविवार को कुएं में 20 गायों के शव, तो मैदान में 80 से ज्यादा गायों के शव और कंकाल पड़े मिले थे। इनमें से 8 गायों की मौत तो शनिवार रात को ही हुई थी। मामला सामने आने के बाद पुलिस ने गौशाला संचालिका निर्मला पर केस दर्ज किया, वहीं प्रशासन ने गौशाला का संचालन अपने हाथ में ले लिया। निर्मला 20 साल से इस गौशाला का संचालन कर रही हैं। इधर, सोमवार से मजिस्ट्रियल जांच भी शुरू हो गई। दो दिन के अंदर बैरसिया SDM कलेक्टर को गायों की मौत की रिपोर्ट सौंपेंगे।

गौशाला से दिनभर निकलते रहे गायों के शव

गायों की मौत का सिलसिला थम नहीं रहा। सोमवार को सुबह 2 गायों के शव निकाले गए। देर शाम तीन और गायों के शव ट्रैक्टर से ले जाए गए। इनकी मौतें सोमवार को उस दौरान हुई जब प्रशासन के अमले के साथ पशु चिकित्सकों की टीमें गौशाला में मौजूद थीं। चिकित्सकों ने इलाज किया, लेकिन वे गायों को नहीं बचा पाए। मरने वाली अधिकतर गायों की उम्र 5 से 7 साल के बीच रही होंगी।

शव सड़क किनारे फेंके, नपा ने भी नहीं उठाया

गौशाला में रविवार देर रात मरी गायों के शव गौशाला से थोड़ी दूर सड़क किनारे फेंक दिए गए। गायों के शव को दिनभर कुत्ते नोंचते रहे। शाम को नगर पालिका के कर्मचारी ट्रैक्टर लेकर गौशाला पहुंचे। यहां से तीन गायों के शव को ट्रैक्टर में लोड किया गया। ट्रैक्टर उसी रास्ते से गुजरा जिस रास्ते में गायों के शव पड़े थे, लेकिन कर्मचारियों ने इन शवों को नहीं उठाया।

ठंड से बचाने पर्दे लगाए, गायों को बोरों से ढका

गौशाला में भूख-प्यास से तड़प रही गायों के लिए सोमवार को खाने-पानी की व्यवस्था की गई। हालांकि उन्हें खाने के लिए भूसा तो दिया गया, लेकिन वो भी सूखा। इसके साथ ही उन्हें ठंड से बचाने के लिए गौशाला में चारों तरफ टीन शेड लगाए गए। कई गंभीर गायों को ठंड से बचाने बोरे से ढंका गया।

दिनभर राजनीति, नारेबाजी, श्रद्धांजलि

गायों की मौत के बाद बसई गांव में दिनभर राजनीतिक दलों के लोगों का आना-जाना लगा रहा। इस दौरान कांग्रेस, आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने गौशाला के सामने नारेबाजी की। वहीं, गायों की कब्रगाह में जाकर कई नेताओं ने गायों को श्रद्धांजलि अर्पित की। आम आदमी पार्टी के नरेश ठाकुर ने आरोप लगाया कि निर्मला को गौशाला खोलने के लिए जमीन दिग्विजय सरकार के कार्यकाल में दी गई थी।