एशिया की सबसे बड़ी मंडी में नाला गायब: APMC मार्केट में करोड़ों का घोटाला

Drain missing in Asia's biggest market: Scam worth crores in APMC market

एशिया की सबसे बड़ी मंडी में नाला गायब: APMC मार्केट में करोड़ों का घोटाला

विशेष रिपोर्ट: एशिया की सबसे बड़ी मंडी APMC मार्केट में नाला सफ़ाई का रियलिटी चेक - व्यापारी और माथाडी मजदूर

परेशान: 

मुंबई: एशिया की सबसे बड़ी मंडी, मुंबई APMC मार्केट, में नाला सफ़ाई के नाम पर जारी भ्रष्टाचार का पर्दाफाश हुआ है। APMC News Digital की टीम ने जब यहां का रियलिटी चेक किया, तो पाया कि नाले गायब हैं और सफ़ाई के नाम पर करोड़ों रुपयों का घोटाला हो रहा है।

नाला सफ़ाई के नाम पर तिजोरी से हर साल लूट

एपीएमसी मार्केट में नाला सफ़ाई के नाम पर करोड़ों रुपये खर्च होते हैं, लेकिन ज़मीनी हकीकत कुछ और ही बयां करती है। नाले गायब हैं और व्यापारी व माथाडी मजदूर सफ़ाई व्यवस्था से बेहद परेशान हैं। बाज़ार में गंदगी और बदबू का माहौल है, जिससे व्यापार प्रभावित हो रहा है।

अधिकारी मिलकर बाज़ार समिति को लगा रहे करोड़ों का चुना?

नाला सफ़ाई के नाम पर हो रही इस लूट में बाज़ार समिति के सभापति, मार्केट संचालक और सचिव की भूमिका संदिग्ध है। ये अधिकारी जानबूझकर इन समस्याओं की अनदेखी कर रहे हैं। सूत्रों के अनुसार, सफ़ाई के नाम पर फर्जी बिल बनाए जाते हैं और करोड़ों रुपयों का गबन होता है।

सामाजिक कार्यकर्ताओं की न्यायालय जाने की तैयारी

बाज़ार समिति की इस अनदेखी और भ्रष्टाचार से तंग आकर कुछ सामाजिक कार्यकर्ता न्यायालय का दरवाज़ा खटखटाने की तैयारी कर रहे हैं। वे इस मुद्दे को लेकर उच्च न्यायालय में याचिका दायर करने की योजना बना रहे हैं ताकि इस घोटाले का पर्दाफाश हो सके और दोषियों को सज़ा मिल सके।

पणन मंत्री अब्दुल सत्तार के आदेशों की अनदेखी

पणन मंत्री अब्दुल सत्तार के आदेशों को भी इन अधिकारियों ने नजरअंदाज कर दिया है। मंत्री के आदेशों के बावजूद, सफ़ाई व्यवस्था में कोई सुधार नहीं हुआ है। कहा जा रहा है कि पणन मंत्री के निजी सचिव का इन अधिकारियों पर आशीर्वाद है, जिसके कारण इनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है।

निष्कर्ष

एपीएमसी मार्केट में नाला सफ़ाई के नाम पर हो रहे भ्रष्टाचार का यह खुलासा गंभीर चिंता का विषय है। व्यापारी और मजदूरों की परेशानी को नजरअंदाज करते हुए करोड़ों रुपयों का घोटाला हो रहा है। जब तक इस मामले में कठोर कार्रवाई नहीं होती, तब तक व्यापारियों और मजदूरों की समस्याएँ बनी रहेंगी। न्यायालय और सरकार को इस मुद्दे पर त्वरित कार्रवाई करनी चाहिए ताकि एपीएमसी मार्केट में पारदर्शिता और ईमानदारी बहाल हो सके।

हम इस मुद्दे पर और भी जानकारी जुटाते रहेंगे और आपको ताजा अपडेट्स देते रहेंगे।